सरकार ने बैंकों को दिया ये आदेश, कर्ज ना चुकाने वालों की अब खैर नहीं! डिफॉल्टर से पैसा वसूलने की पूरी तैयारी

Finance ministry: वित्त मंत्रालय ने बैंकों को लोन वसूली न्यायाधिकरणों (DRT) में रुके केसों के कुशल प्रबंधन के लिए बेहतर निरीक्षण की व्यवस्था करने का निर्देश दिया। बैठक में DRT की प्रथाओं और नीतियों पर चर्चा हुई। साथ ही, वित्त मंत्री ने UPI में नवाचार और डिजिटल अवसरों की खोज पर जोर दिया।

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वित्त मंत्रालय की तरफ से बैंको से लोन वसूली न्यायधिकरणों (DRT) में रुके हुए केसों के कुशल प्रबंधन को लेकर अच्छे से देखरेख और निरीक्षण के सिस्टम को लगाने को कहा गया है। वित्त सेवा सचिव एम नागराजू देवरा ऋण वसूली अपीलीय न्यायाधिकरणों (DRAT) के चेयरपर्सन और ऋण वसूली प्राधिकरणों के पीठासीन अधिकारियों से मिलकर मीटिंग की अध्यक्षता का काम हुआ। इसी बीच उनकी तरफ से DRT में अपनाई जा रही कुछ बेहतरीन प्रथाओं के ऊपर भी वार्ता हुई।

नई नीति को परिभाषित करना होगा

बाद में एक ऑफिसियल स्टेटमेंट के मुताबिक, अच्छे रिजल्ट को पाने में DRT में किन्ही अच्छी प्रथाओं को अपना सकते है। इस मीटिंग के अंतर्गत इस बात पर चिंतन हुआ कि बैंक की तरफ से DRT में रुके हुए छोटे और ज्यादा मूल्य के केसों में पॉलिसी को साफतौर पर परिभाषित करने की जरूरत है। प्रत्येक हितधारक को रुके हुए केस में कमी लाने को पब्लिक तरीके से कार्य करने की जरूरत है।

बैंक UPI से नागरिकों को मजबूत करें – वित्त मंत्री

केंद्र सरकार में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमन UPI पर बैंको से कहती है कि वो नागरिकों को मजबूत करने में UPI में परिवर्तनकारी नवाचार और डिजिटल अवसरों को ढूंढे। हमारे देश के UPI की विश्वभर में डिजिटल भुगतान में भागीदारी 45% पहुंच चुकी है। उनके मुताबिक, एक अच्छे बैंकिंग सिस्टम, ज्यादा आर्थिक बढ़त, सामाजिक विकास और पर्यावरण सस्टेनेबिलिटी पाने में सहायक हो सकता है।

नेशनल पेमेंट्स कॉर्पोरेशन ऑफ इंडिया (NPCI) के आंकड़ों के अनुसार, अगस्त महीने में UPI से हो रहा लेनदेन वार्षिक आधार पर 41% वृद्धि के साथ 14.96 अरब रुपए पहुंच चुका है। इसके अलावा अब प्रत्येक माह में लगभग 60 लाख नए उपयोजकर्ता भी UPI में जुड़ने लगे है। इसका कारण UPI को क्रेडिट कार्ड से लिंक करना और इसको विदेश में भी लॉन्च करना रहा।

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